
आयुष्मान भारत योजना के तहत अब अस्पतालों को आईसीयू (ICU) इलाज का भुगतान करने से पहले मरीज या उनके परिवार वालों से पुष्टि ली जाएगी। स्टेट एजेंसी ‘साचीज’ (SACHIS) के अनुसार, हर महीने आने वाले लगभग 600 आईसीयू बिलों की पहले एक केंद्रीय एजेंसी और फिर साचीज की डॉक्टर टीम जांच करती है।
अब अगर कोई बिल संदिग्ध लगता है, तो मरीज़ या उनके परिजन को कॉल करके उसकी पूरी जानकारी ली जाएगी, ताकि फर्जी बिलों पर रोक लगाई जा सके और इलाज के भुगतान में पूरी पारदर्शिता बनी रहे।
ICU इलाज की पुष्टि और फर्जीवाड़े पर सख्ती
अस्पतालों को भुगतान अब इलाज की पुष्टि के बाद ही किया जाएगा, खासकर आईसीयू (ICU) में भर्ती मरीज़ों के लिए, क्योंकि इसी में सबसे ज़्यादा खर्च आता है। भुगतान से पहले, इलाज की पुष्टि फोन कॉल के ज़रिए की जाएगी। यदि इसके बाद भी कोई गड़बड़ी मिलती है, तो मरीज के घर जाकर सत्यापन (Verification) किया जाएगा। अगर किसी भी तरह का फर्जीवाड़ा पाया जाता है, तो संबंधित अस्पताल का अनुबंध तुरंत खत्म कर दिया जाएगा।
आयुष्मान योजना में धोखाधड़ी पर सख्त कार्रवाई
यदि कोई अस्पताल आयुष्मान कार्ड धारक से नकद भुगतान लेता है, मरीज़ को दी गई सेवाओं से अलग बिल बनाता है, सामान्य बीमारी को गंभीर बताकर ज़्यादा पैसे वसूलता है, एक ही इलाज को बार-बार करता है, या किसी फर्जी व्यक्ति का इलाज करके बिल बनाता है, तो ऐसे मामलों में अस्पताल पर तुरंत कठोर एक्शन लिया जाता है।
इस तरह के दस्तावेज़ों में हेरफेर या किसी भी प्रकार के फ्रॉड पाए जाने पर अस्पताल का बिल रोका जाता है, उसका अनुबंध निलंबित कर दिया जाता है, और ज़रूरत पड़ने पर उसे योजना से बाहर भी कर दिया जाता है।
अस्पताल बिल में गड़बड़ी पर कड़ी कार्रवाई
साचीज (SACHIS) की सीईओ अर्चना वर्मा ने यह साफ़ किया है कि अस्पताल के बिलों में कोई भी गड़बड़ी पाए जाने पर सख्त कदम उठाए जाएंगे। पहली बार गलती मिलने पर, अस्पताल को नोटिस दिया जाता है और बिल की रकम का 10 गुना जुर्माना वसूला जाता है। यदि कोई अस्पताल दूसरी बार ऐसी गड़बड़ी करता है, तो उसके साथ किया गया सरकारी अनुबंध तुरंत खत्म कर दिया जाता है। उन्होंने यह भी बताया कि इस साल 1 जनवरी से अब तक अस्पतालों पर 3.61 करोड़ रुपये का बड़ा दंड (जुर्माना) लगाया जा चुका है।
अस्पतालों से 2.69 करोड़ रुपये की वसूली
साचीज (SACHIS) ने अस्पतालों से 2.69 करोड़ रुपये की वसूली की है। वहीं, जो अस्पताल उत्कृष्ट कार्य करते हैं, उन्हें प्रोत्साहित करने और उनके भुगतान को ग्रीन चैनल के माध्यम से जल्द और आसानी से जारी करने की सुविधा दी जाती है। यदि किसी लाभार्थी को साचीज से संबंधित कोई शिकायत, सुझाव या जानकारी चाहिए, तो वह टोल फ्री नंबर 180018004444 और 14555 पर कॉल करके संपर्क कर सकता है।









