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15 साल से छोटे बच्चे अकेले नहीं जा सकते स्कूल! यहाँ लागू हुआ नियम

अबू धामी सरकार ने स्कूल के बच्चों की सुरक्षा को देखते हुए कड़े नियम बनाए हैं। इन नियमों के तहत अभिभावक 15 साल से छोटे बच्चों को स्कूल अकेले नहीं भेज पाएंगे। इसके साथ ही स्कूल बस और निजी वाहन को ले जाने के लिए भी नए नियम जारी किए गए हैं।

By Pinki Negi

क्या आप जानते हैं अबू धामी सरकार ने नया नियम जारी किया है जिसके तहत अब छोटे बच्चों को स्कूल अकेला नहीं भेजा जाएगा। जी हाँ, यह सच बात है और अबू धामी के शिक्षा विभाग ने यह परिवर्तन किया है। अबू धामी में छात्रों की सुरक्षा को देखते हुए, अकादमिक वर्ष 2025-26 से स्कूलों के फिर से खुलने से पहले यह निर्णय लिया गया है। नए नियमों के तहत स्कूल आने जाने के तरीकों, छात्रों की सुरक्षा और अनुशासन हेतु परिवहन नीतियों में सख्त बदलाव हुआ है। आइए जानते हैं इन नियमों से छात्रों और अभिभावकों के जीवन पर क्या असर पड़ेगा।

15 साल से छोटे बच्चे अकेले नहीं जा सकते स्कूल! यहाँ लागू हुआ नियम

छात्रों के निजी वाहन और अकेले जाने के नियम

नए नियमों के मुताबिक, जितने भी कक्षा 9 से 12 कक्षा के बड़े छात्र हैं वे अकेले स्कूल में आ सकते हैं। वे साइकिल, स्कूटर और अपने निजी वाहनों को लेकर स्कूल में प्रवेश कर सकते हैं, लेकिन उन्हें कुछ शर्तों का पालन करना है। इसके लिए माता-पिता की हस्तक्षारित एक सहमति पत्र देना है। इस पत्र में ये भी लिखा रहेगा कि बच्चा कितनी दूर से आएगा। स्कूल बच्चे की जिम्मेदारी तब संभालेगा जब वह अपने स्कूल में प्रदेश कर देता है। अगर रास्ते में कोई घटना घट जाती है तो इसकी जिम्मेदारी स्कूल की नहीं होगी।

छात्रों के निजी वाहनों के लिए दिशा-निर्देश

अगर स्कूल में बच्चा अपनी बाइक अथवा स्कूटर लाता है तो उसे स्कूल द्वारा छात्रों के लिए सुरक्षित ट्रैक और निश्चित पार्किंग की सुविधा भी होनी चाहिए। अगर स्कूल के पास ऐसी सुविधा उपलब्ध है तभी जाकर वह बच्चे को निजी वाहन लाने की अनुमति देगा। स्कूल परिसर के अंदर वाहनों के इस्तेमाल और नियंत्रण के लिए नियम निर्धारित किए रहेंगे।

छोटे बच्चों के लिए यात्रा के क्या है नियम?

नए नियम के तहत अब 15 वर्ष से छोटे बच्चे अकेले स्कूल आ और जा नहीं सकते हैं। इनको स्कूल छोड़ने-लाने के लिए उनके माता-पिता और अथवा अन्य परिवार का सदस्य या अधिकृत अभिभावक आएँगे। जो 15 साल यह इससे से अधिक उम्र के बच्चे हैं वे अपने छोटे भाई-बहनों को अपने साथ स्कूल ला सकते हैं। लेकिन इसके लिए अभिभावक को सहमित पत्र देना होगा जिसमें उनके साइन होंगे।

स्कूल बस सुरक्षा नियम हुए सख्त

छात्रों की सुरक्षा को देखते हुए, सरकार ने स्कूल बसों के लिए कड़े नियम लागू किए हैं।

  • स्कूल बस का काम केवल बच्चों को लाना और छोड़ना रहेगा और किसी काम के लिए इसका इस्तेमाल नहीं किया जाएगा।
  • बस को 1 घंटे के भीतर बच्चे को स्कूल पहुंचना अथवा घर छोड़ने का काम करना है। इससे अधिक का समय नहीं लगना चाहिए।
  • जिस बस में 11 साल से छोटे उम्र के बच्चे हैं, उनमे ड्राइवर के साथ एक देखरेख करने वाले व्यक्ति रखा जाएगा।
  • बस चलने वाले और बच्चों की ख्याल रखने वाले व्यक्ति के पास सरकार द्वारा जारी खास परमिट कार्ड होना आवश्यक है।

अभिभावकों के लिए ट्रैकिंग ऐप

अभिभावक अपने बच्चे की सुरक्षा पर निगरानी रख सके इसके लिए अबू धामी सरकार ने अभिभावकों के लिए एक खास मोबाइल ऐप को बनाया है। इससे स्कूल आते और जाते समय बच्चे की सुरक्षा जाँच कर सकते हैं। इस ऐप से स्कूल की बस ट्रेक हो जाती है। इसके साथ ही पिक-अप व ड्रॉप-ऑफ पॉइंट क लाइव लोकेशन भी चेक जी जा सकती है।

Author
Pinki Negi
GyanOK में पिंकी नेगी बतौर न्यूज एडिटर कार्यरत हैं। पत्रकारिता में उन्हें 7 वर्षों से भी ज़्यादा का अनुभव है। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत साल 2018 में NVSHQ से की थी, जहाँ उन्होंने शुरुआत में एजुकेशन डेस्क संभाला। इस दौरान पत्रकारिता के क्षेत्र में नए-नए अनुभव लेने के बाद अमर उजाला में अपनी सेवाएं दी। बाद में, वे नेशनल ब्यूरो से जुड़ गईं और संसद से लेकर राजनीति और डिफेंस जैसे कई महत्वपूर्ण विषयों पर रिपोर्टिंग की। पिंकी नेगी ने साल 2024 में GyanOK जॉइन किया और तब से GyanOK टीम का हिस्सा हैं।

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